‘आप जैसा सोचते हैं, वैसा बन जाते हैं’ -महात्मा बुद्ध के ये विचार आज के नहीं हैं, पर हमेशा प्रासंगिक हैं। ऐसे असंख्य विचार हैं जो पीढ़ियों से सफल जीवन का मंत्र बने हुए हैं। मशहूर वैज्ञानिक थॉमस एडिशन का एक कथन बड़ा प्रचलित है, ‘मैं असफल नहीं हुआ बल्कि उन हजार तरीकों को ईजाद किया जो असफल रहे।’ जब असफलता हाथ लगे तो ये विचार खुद में यह भरोसा जगाते हैं कि दरअसल, असफलताएं सफलता का मार्ग होती हैं। इसी तरह, महात्मा गांधी ने कहा था कि, ‘खुद की तलाश का सबसे अच्छा तरीका है, खुद को औरों की सेवा में खो जाने दो।’ यकीनन ऐसे विचार मन में प्रेरणा का संचार कर देते हैं। नई शिक्षा नीति में शिक्षक तकनीकी रूप से भी दक्ष हों
यही कारण है कि कुछ लोग महापुरुषों के विचारों, उद्धरणों को नियमित पढ़ने में रुचि रखते हैं। उनके मुताबिक, इससे उन्हें खुद को सकारात्मक बनाए रखने में मदद मिलती है। ये उनके लिए ‘चार्जर’ की तरह होते हैं, जो पढ़ते ही सकारात्मक ऊर्जा का संचार कर देते हैं। अब सवाल है कि ऐसा क्यों होता है? अमेरिका के जाने-माने मनोवैज्ञानिक जोनाथन फेडर कहते हैं, यह व्यक्ति विशेष पर निर्भर करता है। जिनके लिए महज ये कथन या विचार हैं, उन पर अपेक्षाकृत कम प्रभाव पड़ता है। वहीं, कुछ लोगों के लिए ये विचार नजरिया बदलने की क्षमता रखते हैं यानी असरकारक मजबूत बदलाव की प्रेरणा जगाते हैं।ITR दाखिल करते समय कभी ना करें ये गलतियां वरना होगा नुकसान
कोच की तरह देते हैं दिशा फेडर कहते हैं ऐसे कथनों की प्रभावी क्षमता का एक कारण इनका कोच की तरह होना है। जब इन्हें आप पढ़ते या सुनते हैं तो ऐसा लगता है कि एक बेहतरीन कोच की तरह वे आपमें जीवन में आगे बढ़ने की प्रेरणा जगा रहे हैं। साथ ही, वह आपको अच्छी तरह समझ रहा है। एक सफल कोच की तरह वही कह रहा है, जिसकी आपको सबसे ज्यादा जरूरत है यानी मजबूत भरोसा जगा देने वाला इंसान। फेडर के मुताबिक, इसके बाद आपके विचार इतने सक्रिय हो जाते हैं कि आप खुद से बात करने लगते हैं। यह आंतरिक संवाद आपको अपना बेहतरीन दोस्त बना देता हैं। भगवान के विभिन्न रूपों के स्मरण का दिन है अनंत चतुर्दशी, जानिए 14 अंक का महत्व
लयात्मक शब्दों व मौलिकता का प्रभाव कम शब्दों में बड़ी से बड़ी बात कह देने की कला होती है इन विचारों में। पेंसिलवेनिया, अमेरिका के लाफायटे कॉलेज में इस बारे में एक अध्ययन हुआ। निष्कर्ष में पाया गया कि प्रतिभागियों को इन विचारों में शब्द ही नहीं, उनका लयात्मक तरीका प्रभावित भी करता है। जैसे नेपोलियन हिल ने कहा कि इंसान के मन में जो विचार जन्म लेते हैं, वे पूरे भी हो सकते हैं, तो ऐसे विचार तुरंत अथाह ऊर्जा जगाने की क्षमता रखते हैं, क्योंकि ये पूर्ण लगते हैं। वैसे, सबसे बड़ी बात कि ये विचार मौलिक और आजमाए हुए होते हैं। उन कथनों-विचारों के साथ एक विश्वसनीय पहचान जुड़ी होती है। ITR दाखिल करते समय कभी ना करें ये गलतियां वरना होगा नुकसान
दो हजार साल पुरानी प्रार्थना जगाती है ऊर्जा मोटिवेशनल स्पीकर शिव खेड़ा कहते हैं इंसान अक्सर ऐसे रोल मॉडल और नेतृत्व की तलाश में रहता है जो उसे आगे की राह दिखा सकें। उनके विचार असर डालते हैं। कई बार बदल देते हैं। जहां तक मेरी बात है, तो मुझे जो चीज सबसे अधिक प्रेरणा देती है, वह है दो हजार साल पुरानी प्रार्थना। इसे मैंने दुनिया के प्रख्यात मोटिवेशनल स्पीकर नॉर्मन विंसेट पील की सभा में पहली बार सुना था और आज भी जब घर से निकलता हूं तो इसी प्रार्थना के साथ। किसी भी दुविधा में यही प्रार्थना ताकत देती है। यह है, ‘भगवान मुझे इतनी स्थिरता और संतुलन दो कि जो बदल नहीं सकता, उसे सौगात समझकर स्वीकार करूं। जो बदल सकता हूं उसके लिए हिम्मत व हौसला दो और इतनी सद्बुद्धि दो कि मैं इसमें फर्क बता सकूं कि क्या बदल सकता हूं और क्या नहीं बदल सकता।’ मेरे विचार से यह प्रार्थना हम सबको करनी चाहिए।समय की मांग है कि प्रत्येक व्यक्ति प्रकृति और पर्यावरण के संरक्षण, चिंतन-वंदन की ओर अग्रसर हो -Alok Prabhat
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